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गहलोत सरकार पर फिर छाए संकट के बादल, सीएम का दावा शाह कर रहे विधायक खरीदने की कोशिश।


राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शनिवार को केंद्रीय मंत्री अमित शाह और धर्मेंद्र प्रधान पर राज्य की कांग्रेस सरकार को अस्थिर करने का आरोप लगाया है। गहलोत ने अप्रत्यक्ष तौर पर राज्य के पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट पर भी निशाना साधा है। बता दें कि दोनों नेता जुलाई में तब आमने-सामने आ गए थे जब पायलट ने मुख्यमंत्री गहलोत के खिलाफ मोर्चा खोल दिया था। इसके बाद पार्टी ने उनपर कार्रवाई करते हुए उन्हें उपमुख्यमंत्री और राज्य के कांग्रेस अध्यक्ष पद से हटा दिया था। 

गहलोत सरकार पर फिर छाए संकट के बादल, सीएम का दावा शाह कर रहे विधायक खरीदने की कोशिश।


गहलोत ने दावा किया कि शाह और प्रधान ने भाजपा सांसद सैयद जफर इस्लाम के साथ हाल ही में कांग्रेस के कुछ विधायकों के साथ चाय पर मुलाकात की और उन्हें समझाने की कोशिश की कि राजस्थान में कांग्रेस की सरकार को गिराया जा सकता है जैसा कि पांच अन्य राज्यों में किया गया है। गहलोत ने कहा कि विधायकों के साथ शाह की बैठक एक घंटे तक चली। विधायकों ने मुझे बताया कि उन्होंने (भाजपा सदस्यों ने) हमें यह महसूस कराने की कोशिश की कि यह उनके (शाह) के लिए गर्व की बात है कि पांच राज्य सरकारें गिराई जा चुकी हैं और छठवीं को गिराया जा सकता है।


इसी बीच मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सोमवार को मंत्रिपरिषद की बैठक बुलाई है। माना जा रहा है कि वे सरकार पर छाए संकट को लेकर मंत्रिपरिषद के सहयोगियों से चर्चा करेंगे। वहीं पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट भी जयपुर पहुंच गए हैं। राज्य में तेजी से बदलते राजनीतिक घटनाक्रम को देखते हुए प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह को डोटासरा को मुख्यमंत्री ने श्रीगंगानगर से किसान सम्मेलन रद्द करके जयपुर बुलाया है।


मुख्यमंत्री ने कांग्रेस विधायकों को सावधान रहने की सलाह दी है। उनका कहना है कि भाजपा पैसे और ताकत के बल पर राज्य सरकारों को गिराने की साजिश रच रही है। वहीं राजस्थान के अध्यक्ष डोटासरा ने कहा कि हमारे इस बात के सबूत हैं कि अमित शाह हमारे विधायकों को खरीदने की कोशिश कर रहे हैं। सूत्रों के अनुसार तीन निर्दलीय और दो बसपा से कांग्रेस में आए विधायकों ने मुख्यमंत्री गहलोत को बताया है कि उनसे फिर से संपर्क करने की कोशिश की जा रही है।


हालांकि इस प्रकरण पर भाजपा और पायलट गुट का कहना है कि यह सब सोची समझी साजिश के तहत हो रहा है। यदि किसी विधायक ने मुख्यमंत्री से ऐसा कहा है तो वह इसलिए क्योंकि उन्होंने उसे मंत्री बनाने के वादा किया था और ऐसा नहीं हुआ है। वहीं नेता प्रतिपक्ष गुलाब चंद कटारिया का कहना है कि गहलोत को अपनी पार्टी के अंदर के मतभेदों के लिए दूसरों को दोष नहीं देना चाहिए।


कटारिया ने कहा, 'कांग्रेस के शीर्ष सदस्यों के बीच मतभेदों के बारे में सभी को पता है। मुख्यमंत्री फिर से भाजपा पर दोष मढ़ रहे हैं जबकि उन्हें अपने ही सदस्यों से खतरा है।' नेता प्रतिपक्ष के उपनेता राजेंद्र सिंह राठौड़ ने कहा कि कांग्रेस में आंतरिक लड़ाई इतनी तेज है कि विद्रोह कभी भी हो सकता है।

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